ओआरओपी लागू करने में होगी और देरी

वन रैंक वन पेंशन (ओआरओपी) योजना के क्रियान्वयन पर गठित समिति का कार्यकाल छह महीने बढ़ाकर इस साल दिसंबर के मध्य तक कर दिया गया है। सरकार ने हाल ही में पिछले साल जारी राजपत्रित अधिसूचना को संशोधित किया जिसके तहत पटना उच्च न्यायालय के पूर्व मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति (सेवानिवृत्त) एल नरसिंहा रेड्डी की अगुवाई वाली समिति को 14 जून तक अपनी रिपोर्ट जमा करनी थी। आधिकारिक सूत्रों ने कहा कि कार्यकाल विस्तार के साथ ओआरओपी के क्रियान्वयन में कुछ समय और लग सकता है क्योंकि समिति 14 दिसंबर तक अपनी रिपोर्ट जमा कर सकती है।

 

सरकार ने 25 लाख पूर्व-सैनिकों और युद्ध में मारे गए सैन्यकर्मियों की विधवाओं को लाभ देने के लिए सात नवंबर, 2015 को ओआरओपी को लागू करने की घोषणा की थी। समिति की अन्य सेवा शर्तें जारी रहेंगी जिनमें ओआरओपी लागू करने में आ सकने वाली विसंगतियों को हटाने के लिए कदम उठाना शामिल है। समिति उन विसंगतियों को भी हटाने के लिए कदमों पर विचार कर रही है जो ओआरओपी के क्रियान्वयन के चलते तीनों सेनाओं के अंतर-सेवा संबंधी मुद्दों से उपज सकते हैं। समिति अन्य सभी विषयों पर अध्ययन कर रही है, जो उसे केंद्र सरकार ने ओआरओपी को लागू करने या उससे संबंधित मुद्दों पर भेजे हैं। समिति जरूरत पड़ने पर किसी भी मामले पर सरकार को अंतरिम रिपोर्ट दे सकती है।

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