पटना : मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के सात निश्चयों में से एक बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना पर बैंकों ने स्पीड ब्रेकर लगा दिया है. छात्र-छात्राओं के आवेदन तो आ रहे हैं, लेकिन उस गति से उन्हें स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है. अब तक 16,589 आवेदन आने के बाद थर्ड पार्टी वेरिफिकेशन में 5353 अभ्यर्थियों का सत्यापन (वेरिफाइ) किया गया, लेकिन 2187 छात्र-छात्राओं को ही स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड दिया जा सका है. 2187 छात्र-छात्राओं में से मात्र 774 विद्यार्थी को जो विभिन्न संस्थानों में पढ़ रहे हैं, उनके लिए संस्थानों के बैंक खाते में राशि ट्रांसफर की गयी है. बैंकों के पास अभी भी थर्ड पार्टी वेरिफिकेशन के बाद 3465 आवेदन पड़े हुए हैं, जिन्हें स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड की राशि दी जानी है. प्रदेश के छात्र-छात्राओं को 12वीं के आगे पढ़ने के लिए सरकार ने चार लाख रुपये तक की ऋण देने के लिए दो अक्तूबर से बिहार स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड योजना शुरू की थी.
इसमें पहले साल वित्तीय वर्ष 2016-17 में सरकार ने पांच लाख छात्र-छात्राओं को इस योजना का लाभ देने का निर्णय लिया था, लेकिन सरकार उस लक्ष्य का एक प्रतिशत भी नहीं पा सकी. वित्तीय वर्ष 2017-18 के लिए सरकार ने पहले छह लाख छात्र-छात्राओं को स्टूडेंट क्रेडिट कार्ड देने का लक्ष्य रखा था, लेकिन पहले साल की स्थिति देखकर उस लक्ष्य को घटा कर एक लाख कर दिया गया है. इसी आधार पर जिलों को टारगेट भी दिया गया है