कांग्रेस के 2014 के घोषणापत्र के आवरण पर प्रकाशित ‘आपकी आवाज-हमारा
संकल्प’ बखूबी अपना संदेश प्रकट कर देता है। राहुल गांधी के नेतृत्व में
पूरे देश में तीस से अधिक सुझावों और 1.3 लाख लोगों के विचारों को शामिल
करके तैयार किया गया यह घोषणापत्र लंबे समय से पार्टी के आदर्श रहे न्याय,
समता और गरिमा के विचारों पर आधारित है। तेजी से आधुनिक हो रहे देश के लिए
यह घोषणापत्र एक नया नजरिया पेश करता है। यह ऐसा नजरिया है, जो सभी
देशवासियों के सशक्तिकरण और रोजगार सृजन को सुनिश्चित करता है।
कांग्रेस
ने देश की जनता से समावेशी विकास का वायदा किया था, जिसे पूरा किया गया।
2004 में हमने एक ऐसा कानून बनाने का वायदा किया था, जो ग्रामीण परिवारों
को साल में सौ दिन रोजगार की गारंटी दे। इसे पूरा किया गया। 2009 में हमने
खाद्य सुरक्षा कानून बनाने का वायदा किया था। हर भारतीय को गुणवत्तापूर्ण
भोजन एवं पोषण उपलब्ध कराने के लिए राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम बनाकर
हमने उसे भी पूरा किया।
हमने 2009 में एक नए भूमि अधिग्रहण कानून
बनाने का भी वायदा किया था। यह कानून हमारे भूस्वामी एवं भूमिहीन किसानों
के लिए एक ऐतिहासिक विजय था, जो अब भूमि अधिग्रहण की स्थिति में किसानों को
उचित मुआवजा दिलाएगा। हम महिलाओं के प्रति अपमानजनक कार्रवाइयों से दुखी
थे। इसलिए हमने आपराधिक कानून (संशोधन) विधेयक, 2013 पारित करवा कर महिलाओं
के अधिकारों को सुनिश्चित किया और उन्हें कार्यस्थल पर यौन उत्पीड़न से
बचाने के लिए अधिनियम ले आए।
सबसे बड़ी बात यह है कि इन दस वर्षों
में तेजी से बढ़ती गरीबी की दर में कमी आई है, यूपीए के दौर में 14 करोड़
लोगों को गरीबी से निजात दिलाई गई है। गरीबी में गिरावट की दर एनडीए शासन
के मुकाबले तीन गुना तेज रही है। हमारे विरोधी बार-बार इस बात के लिए हमारी
आलोचना करते हैं कि कांग्रेस आर्थिक विकास की कीमत पर सामाजिक क्षेत्रों
पर ज्यादा ध्यान दे रही है। यह बिल्कुल गलत है। एनडीए शासन की 5.9 फीसदी
विकास दर के मुकाबले यूपीए शासन में औसत विकास दर 7.5 फीसदी रही है। इसके
अलावा भी हमारी कई अन्य उपलब्धियां हैं।
अगले तीन वर्षों में आठ
फीसदी विकास दर हासिल करने के लिए कांग्रेस ने अपने घोषणापत्र में कई उपाय
प्रस्तावित किए हैं, साथ ही मुद्रास्फीति को नियंत्रण में लाने को
प्राथमिकता दी है। सरकार गठन के सौ दिनों के भीतर हम रोजगार कार्यक्रम की
घोषणा करेंगे। हम सुनिश्चित करेंगे कि अगले पांच वर्षों में दस करोड़
युवाओं को कुशल बनाकर उन्हें रोजगार उपलब्ध कराया जाए।
आगामी दस
वर्षों में देश की आधारभूत संरचना को मजबूत बनाने के लिए एक खरब डॉलर का
निवेश किया जाएगा। मैन्यूफैक्चरिंग क्षेत्र हमारी प्राथमिकता में होगा।
घोषणापत्र में एक वर्ष के भीतर उत्पाद एवं सेवा कर (जीएसटी) तथा प्रत्यक्ष
कर संहिता विधेयक लाने का वायदा किया गया है। जीएसटी अकेला सबसे बड़ा
आर्थिक सुधार है, जिसकी देश को जरूरत है, लेकिन कुछ नेताओं के कड़े विरोध
के कारण लटका हुआ है। भाजपा के प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार इसे पारित
होने देने के पक्ष में नहीं थे, जबकि उनके कई सहयोगीइस प्रस्तावित सुधार
के पक्ष में थे।
भले ही समावेशी विकास के लिए कांग्रेस की आलोचना की
जाती रही हो, पर 2004 से पार्टी ने ग्रामीण भारत की बेहतरी के लिए जो कदम
उठाने शुरू किए, उसने शहरी और ग्रामीण जनता के बीच की खाई पाटने में मदद की
है। ग्रामीण विकास यूपीए के शासन की बड़ी उपलब्धि है। प्रधानमंत्री ग्राम
सड़क योजना और मनरेगा जैसे कार्यक्रमों को लागू करके इसे संभव बनाया गया
है।
कांग्रेस सभी देशवासियों को स्वास्थ्य का अधिकार देगी। कमजोर
परिवारों के लिए सार्वभौमिक पेंशन योजना लागू की जाएगी, जो कमजोर लोगों,
बुजुर्गों, विधवाओं एवं वंचितों को सामाजिक सुरक्षा उपलब्ध कराएगी। बेघर और
भूमिहीन लोगों को आवास का अधिकार देना बाकी है, जो कांग्रेस की प्राथमिकता
में है। यह सुनिश्चित किया जाएगा कि महिला स्वयं-सहायता समूह के जरिये सभी
महिलाओं को एक लाख रुपये तक का ऋण कम ब्याज दर पर आसानी से उपलब्ध हो।
किसानों की समस्या सुलझाने में कांग्रेस हमेशा आगे रही है। आगे यह
सुनिश्चित किया जाएगा कि किसानों को उनकी फसल की अच्छी कीमत मिले और लघु व
सीमांत कृषकों को पांच लाख रुपये तक रियायती दर पर ऋण मुहैया कराया जाए।
सांप्रदायिक
हिंसा विधेयक को पारित कराने के लिए कांग्रेस प्रतिबद्ध है। सभी पंचायतों
में ग्रामीण ब्रॉडबैंड कनेक्टिविटी सुनिश्चित की जाएगी। सरकार द्वारा दी
जाने वाली लाभकारी योजनाएं आधार के जरिये ‘आपका पैसा आपके हाथ’ पहल के तहत
गरीबों तक पहुंचेंगी और बिचौलियों को खत्म किया जाएगा। अगले पांच वर्षों
में हर भारतीय के पास बैंक खाता होगा।
हमारे विरोधियों के पास देने
के लिए कुछ नहीं है। भाजपा ने अब तक घोषणापत्र जारी नहीं किया है। उसका
चुनाव प्रचार भी एक व्यक्ति तक सीमित है। जबकि कांग्रेस का घोषणापत्र एक
बहुलतावादी, गतिशील लोकतंत्र के विकास और समृद्धि का दूरदर्शी दस्तावेज है,
जिसमें समाज का हर तबका समृद्धि में हिस्सेदार है। यह देश के विकास पर
ध्यान केंद्रित करते हुए ग्रामीण, शहरी, अल्पसंख्यक, युवा, बुजुर्ग,
व्यवसायी एवं अनुसूचित जाति व जनजातियों-सबको सशक्त बनाना चाहता है।
लेखक केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्री हैं