नागपुर. नेताओं की सेवा में लगे भ्रष्ट अफसरों की पहुंच इतनी
ज्यादा है कि एसीबी से निकली सूची भी मंत्री तक पहुंचते-पहुंचते छोटी हो
जाती है।
एसीबी नागपुर ने 39 भ्रष्ट अफसरों की सूची तैयार की थी, जो मंत्री तक
पहुंचते-पहुंचते 18 हो गई। एसीबी कार्यालय व मंत्री तक का फासला महज 1 किमी
का था और यह कमाल देखकर एसीबी अफसर भी हतप्रभ रह गए हैं।
दी थी 39 भ्रष्ट अफसरों की सूची : रिश्वत लेते या भ्रष्टाचार के
आरोप में पकड़े गए अफसरों के खिलाफ आरोप पत्र दायर करने के लिए भ्रष्टाचार
निरोधक ब्यूरो (एसीबी) को सरकार से अनुमति लेना अनिवार्य है।
ये भ्रष्ट अफसर सिंचाई, पीडब्ल्यूडी, राजस्व, नासुप्र, वन, पुलिस सहित विविध विभागों के हैं। 2007 से सरकार ने अनुमति नहीं दी।
भ्रष्ट अफसरों की फेहरिस्त 39 हो गई है। गृहमंत्री आर. आर. पाटील को
भ्रष्ट अफसरों पर की गई कार्रवाई के बारे में सदन को अवगत करना था। सदन में
बयान देने के पूर्व गृह मंत्री श्री पाटील ने विधानभवन में ही होमवर्क
किया।
एसीबी नागपुर ने 39 भ्रष्ट अफसरों की सूची दी थी। मंत्री ने सचिव को
पूरा मामला समझने को कहा। अधिकारी ने सचिव को समझाने का प्रयास किया।
खबर है कि यह हाल पूरे राज्य का है। 39 की सूची महज एसीबी नागपुर की है।
ऐसी सूची एसीबी के हर विभागीय कार्यालय में लटकी हुई है। जो अनुमति का
इंतजार कर रही है।
चर्चा है कि भ्रष्ट अफसरों का कनेक्शन मंत्री व सचिव से सीधे पहुंच
रखनेवालों से है। यही कारण है कि इस बार भी सरकार ने इनके खिलाफ ठोस कदम
नहीं उठाए।