श्वेत क्रांति के जनक वर्गीज कुरियन का निधन

आणंद (गुजरात) : दूध की कमी से जूझने वाले देश से भारत को दुनिया का
सर्वाधिक दुग्ध उत्पादक देश बनाने वाले ‘श्वेत क्रांति’ के जनक डा. वर्गीज
कुरियन का पडोसी नाडियाड के मुलजीभाई पटेल यूरोलॉजिकल अस्पताल में
संक्षिप्त बीमारी के बाद आज तडके निधन हो गया.

वह 90 साल के थे और उनके परिवार में पत्नी मॉली कुरियन और पुत्री
निर्मला हैं. गुजरात कोआपरेटिव मिल्क मार्केटिंग फेडरेशन (जीसीएमएमएफ)
अधिकारियों ने बताया, ‘‘डा कुरियन का शव आज तडके चार बजे के करीब उनके आवास
पर लया गया और उसके बाद उसे आणंद में अमूल डेयरी के सरदार हॉल में रखा गया
है. वहां लोग उन्हें श्रद्धांजलि देंगे. उनका दाह संस्कार आज शाम साढे चार
बजे होगा.’’ कुरियन का आज तडके सवा एक बजे निधन हुआ.

राष्ट्रीय डेयरी विकास बोर्ड (एनडीडीबी) के संस्थापक अध्यक्ष कुरियन की
अगुवाई में ‘ऑपरेशन फ्लड’ की शुरुआत की गई. इसने भारत को दुनिया का
सर्वाधिक दुग्ध उत्पादक देश बना दिया. उन्हें अमूल डेयरी को घर-घर में
लोकप्रिय बनाने का श्रेय जाता है.

उनका पेशेवर जीवन सहकारिता के जरिए भारतीय किसानों के सशक्तिकरण को
समर्पित था.राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने भारत में श्वेत क्रांति के जनक डा.
वर्गीज कुरियन के निधन पर शोक जताया. मुखर्जी ने कुरियन की ऐसे व्यक्ति के
रुप में सराहना की जिसने श्वेत क्रांति की शुरुआत की और कृषि, ग्रामीण
विकास तथा डेयरी के क्षेत्र में जबर्दस्त योगदान दिया.

उपराष्ट्रपति हामिद अंसारी और प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने भी उनके निधन
पर शोक जताया. भारतीय सहकारिता आंदोलन और डेयरी उद्योग का आदर्श बताते हुए
सिंह ने कहा कि अपने लंबे और शानदार कैरियर में कुरियन ने सहकारी डेयरी
विकास का आणंद मॉडल स्थापित किया, श्वेत क्रांति शुरु की और भारत में
दुनिया का सबसे बडा दुग्ध उत्पादक बनाया. गत वर्ष 26 नवंबर को कुरियन का 90
वां जन्मदिन उनके आवास पर भव्य तरीके से मनाया गया था.

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