राजबाला का आज गांव में होगा अंतिम संस्कार

सोनीपत। दिल्ली के रामलीला मैदान में बाबा रामदेव के शिविर पर हुई पुलिस
कार्रवाई में घायल हुई गांव भटाना जाफराबाद की राजबाला [55] की मौत की
सूचना से जिले में शोक की लहर दौड़ गई। राजबाला का मंगलवार दोपहर गांव भटाना
में अंतिम संस्कार किया जाएगा। अंतिम संस्कार में योग गुरु बाबा रामदेव भी
शामिल रहेंगे और शोक संतप्त परिवार को ढांढस बंधाएंगे।

विदित हो कि कि जिले के गांव भटाना जाफराबाद निवासी राजबाला पत्‍‌नी
जगबीर मलिक पतंजलि योग समिति से जुड़ी है। बीती चार जून को दिल्ली के
रामलीला मैदान में बाबा रामदेव द्वारा लगाए गए शिविर में राजबाला भी गई थी।
शिविर पर रात के समय दिल्ली पुलिस द्वारा की गई कार्रवाई के दौरान राजबाला
को गंभीर चोटें आई थी। उन्हें गुड़गांव व बाद में दिल्ली के जीबी पंत
अस्पताल में भर्ती करवाया गया था, जहां सोमवार सुबह उनका निधन हो गया।

राजबाला की मौत की सूचना जैसे ही गांव भटाना में पहुंची तो वहां शोक की
लहर दौड़ गई। पतंजलि योग समिति के सदस्य रविंद्र नैन ने बताया कि राजबाला
का अंतिम संस्कार मंगलवार को उसकी ससुराल गांव भटाना जाफराबाद में किया
जाएगा। उन्होंने बताया कि राजबाला की अंतिम यात्रा में योग गुरु बाबा
रामदेव भी शामिल रहेंगे। साथ ही देशभर से पतंजलि व भारत स्वाभिमान ट्रस्ट
के सदस्य एकत्र होंगे।

सोमवार को पतंजलि योग समिति व भारत स्वाभिमान ट्रस्ट के सदस्यों ने
बैठक कर राजबाला की आत्मा की शांति की प्रार्थना की। इस दौरान समिति के
ग्रामीण जिला प्रभारी जयबीर गहलावत ने कहा कि राजबाला की मौत ने जता दिया
है कि दिल्ली के रामलीला मैदान में कितनी बर्बरता से कार्रवाई की गई थी।

इस दौरान अनिल सिंह, निर्मला, अनीता, उर्मिला, अशोक खत्री, प्रेम सिंगला, जगबीर आदि मौजूद रहे।

गौरतलब है कि रामलीला मैदान में आयोजित बाबा रामदेव के उपवास के दौरान
पुलिसिया कार्रवाई में घायल हुई राजबाला [50] ने सोमवार सुबह दम तोड़ दिया।
उसकी मौत मल्टीऑर्गन फेल होने की वजह से हुई है। राजबाला गत 5 जून से जीबी
पंत अस्पताल में भर्ती थी। उसका अंतिम संस्कार मंगलवार दोपहर सोनीपत के
गांव भटाना में किया जाएगा। अंतिम संस्कार में योग गुरु बाबा रामदेव भी
शामिल रहेंगे।

जीबी पंत अस्पताल में राजबाला का इलाज कर रहे न्यूरो सर्जन डॉक्टर
संजीव सिन्हा ने बताया कि सोमवार पूर्वान्ह 10.25 पर हार्ट फेल व ब्रेन
हैमरेज के चलते राजबाला की मौत हो गई। उनकी पहली सर्जरी पांच जून की शाम को
की गई थी। सर्वाइकल सी-चार व सी-पांच के बीच उन्हें गंभीर चोट पहुंची थी,
जिसकी वजह से उन्हें लकवा मार गया था। उन्हें सांस लेने में भी दिक्कत आ
रही थी। स्थिति में सुधार न आने पर उन्हें लगातार आइसीयू में रखा गया। इसके
अलावा ब्लैडर, आंत भी सामान्य रूप से काम नहीं कर रही थी। सात सितंबर को
एक बार और उनकी सर्जरी की गई थी, लेकिन कोई सुधार नहीं हुआ और आज उन्होंने
दम तोड़ दिया।

राजबाला की मौत की सूचना मिलते ही रामदेव समर्थक व स्वाभिमान ट्रस्ट के
लोगदोपहर बाद जीबी पंत अस्पताल पहुंचे। इन लोगों ने दिल्ली सरकार व पुलिस
के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। राजबाला की मौत की सूचना के बाद टीम अन्ना के
सदस्य मनीष सिसोदिया अपने समर्थकों के साथ अस्पताल पहुंचे और परिजनों को
दिलासा दी।

राजबाला की बहू राकेश मलिक ने कहा कि डॉक्टरों ने अपनी तरफ से भरपूर
कोशिश की लेकिन जो होना था वही हुआ। हमें दुख इस बात का है कि इतनी बड़ी
घटना के बाद भी सरकार और पुलिस ने हमारी कोई मदद नहीं की। अब बस
न्यायपालिका ही हमारी एकमात्र उम्मीद है। हम चाहते हैं जिनकी वजह से मेरी
सास की मौत हुई है उसे इसकी सजा जरूर मिले।

बता दें कि निगम पार्षद रह चुकी राजबाला के परिवार में पति जगबीर सिंह
के अलावा दो बेटे अनिल व अमित हैं। बाबा रामेदव के योग से प्रभावित राजबाला
भी जगह-जगह जाकर लोगों को योग का पाठ पढ़ाती थीं।

राजबाला की मौत का ठीकरा भी चिदंबरम के सिर

नई दिल्ली। 2जी स्पेक्ट्रम में बतौर वित्त मंत्री अपनी भूमिका को लेकर
बुरी तरह घिरे केंद्रीय गृहमंत्री पी चिदंबरम पर अब पुलिसिया कार्रवाई की
शिकार राजबाला की मौत का भी ठीकरा फोड़ दिया गया है। मुख्य विपक्ष भाजपा ने
आरोप लगाया कि इस मामले में दोषी चिदंबरम हैं और उनके खिलाफ प्राथमिकी
दर्ज होनी चाहिए।

रामलीला मैदान में हुई पुलिसिया कार्रवाई के बाद मौज से जूझ रही
राजबाला का सोमवार को निधन हो गया। भाजपा ने भी तत्काल सरकार पर दबाव
बढ़ाना शुरू कर दिया। पार्टी प्रवक्ता जेपी नाड्डा ने कहा कि चिदंबरम
गृहमंत्री हैं और दिल्ली पुलिस उनके अधीन। लिहाजा लाठी चार्ज उनके आदेश पर
ही हुआ था। ऐसे में चिदंबरम दोष से नहीं बच सकते हैं।

दूसरी तरफ लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष सुषमा स्वराज ने ट्वीट करते हुए
कहा कि चिदंबरम के साथ साथ मानव संसाधन मंत्री कपिल सिब्बल को भी घेरा।
उन्होंने कहा कि उस वक्त सिब्बल ने दावा किया था कि पुलिसिया कार्रवाई में
कोई घायल नहीं हुआ। राजबाला की मौत के बाद भी क्या वह सफाई देंगे? उन्होंने
मांग की कि इस मामले में तत्काल दिल्ली पुलिस के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया
जाना चाहिए।

अंतिम संस्कार में बाबा रामदेव भी होंगे शामिल

सोनीपत। गांव भटाना जाफराबाद की राजबाला की मौत की सूचना से जिले में
शोक की लहर दौड़ गई। पतंजलि योग समिति के सदस्य रविंद्र नैन ने बताया कि
राजबाला के अंतिम संस्कार में योग गुरु बाबा रामदेव भी शामिल रहेंगे। साथ
ही देशभर से पतंजलि व भारत स्वाभिमान ट्रस्ट के सदस्य एकत्र होंगे। सोमवार
को पतंजलि योग समिति व भारत स्वाभिमान ट्रस्ट के सदस्यों ने बैठक कर
राजबाला की आत्मा की शांति की प्रार्थना की।

उधर, योगगुरु बाबा रामदेव और उनके निकटतम सहयोगी आचार्य बालकृष्ण ने
सहयोगी राजबाला की मौत के लिए केंद्रीय गृहमंत्री पी. चिदंबरम को दोषी
ठहराया है। उन्होंने कहा कि 4 जून को दिल्ली के रामलीला मैदान में एकत्र
योग प्रशिक्षकों पर गृहमंत्री चिदंबरम ने ही दिल्ली पुलिस को कार्रवाई के/> लिएआदेश दिया था। उन्होंने राजबाला की मौत को कालेधन और भ्रष्टाचार के
खिलाफ देश के लिए दी गई शहादत बताया।

इधर, न्यास ने राजबाला की मौत को हत्या बताते हुए इसके लिए दोषियों के
खिलाफ मुकदमा दर्ज करने की मांग की है। सोमवार को भारत स्वाभिमान न्यास की
ओर से जारी बयान में बाबा रामदेव ने कहा कि वे राजबाला का बलिदान व्यर्थ
नहीं जाने देंगे। राजबाला ने भ्रष्टाचार और कालेधन के खिलाफ शहादत दी है,
वे देश को भ्रष्टाचार मुक्त कर देश के बाहर जमा कालेधन को भारत वापस लाकर
ही दम लेंगे।

उन्होंने भारत स्वाभिमान और पतंजलि योगपीठ से जुड़े सहयोगियों, भक्तों
के साथ-साथ सभी राष्ट्रभक्तों से राजबाला के 27 सितंबर को होने वाले अंतिम
संस्कार में अधिक से अधिक संख्या में भाग लेने का आह्वान किया है।

इधर, योगगुरु बाबा रामदेव की सहयोगी राजबाला की मौत को हत्या बताते हुए
भारत स्वाभिमान न्यास ने मांग की है कि दोषियों पर हत्या का मुकदमा दर्ज
किया जाये। न्यास ने अपने सभी कार्यकर्ताओं को पूरे देश में सभी 624 जिलों
में मांग के समर्थन और राजबाला की याद में सामूहिक यज्ञ और रोष प्रदर्शन
करने के निर्देश दिये हैं। न्यास ने सभी जगहों के माध्यम से मामले में दोषी
मंत्रियों और दिल्ली पुलिस कमिश्नर पर हत्या का मुकदमा दर्ज करने के लिए
राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री को संबोधित ज्ञापन भेजे जाने की बात भी कही है।

-क्या था रामदेव प्रकरण

दिनांक- 4 जून, समय रात एक बजे के आसपास का रामलीला मैदान में बाबा
रामदेव के सत्याग्रह का पहला दिन। दिन में सब कुछ ठीक ठाक था। मध्य रात्रि
शिविर में महिलाएं, बच्चे गहरी नींद में सो रहे थे। रात करीब एक बजे हजारों
की तादात में पुलिस व रैपिड एक्शन फोर्स के जवानों ने पंडाल के आसपास
नाकेबंदी शुरू कर दी। रामलीला मैदान के आसपास सभी मार्गो को भी पूरी तरह
बंद कर दिया गया। पुलिस आयुक्त बीके गुप्ता खुद वहां मौजूद थे।

बाबा रामदेव को पुलिस ने जबरन अपने साथ ले जाने का प्रयास किया तो
समर्थक बचाव में आगे आ गए। पुलिस ने लोगों को बाहर खदेड़ना शुरू कर दिया।
पुलिस के इस रवैये से वहां भगदड़ मच गई। पुलिस ने निहत्थे लोगों पर जमकर
लाठियां भांजी व आंसू गैस के गोले दागे। हालांकि पुलिस का आरोप है कि बाबा
रामदेव समर्थकों ने पहले पत्थरबाजी शुरू की। रामदेव समर्थकों पर करीब दो
घंटे तक पुलिसिया कार्रवाई चली। नतीजतन 75 से अधिक लोगों को चोट आई।

इन्हीं में एक राजबाला भी थीं। वहीं इस संबंध में रामदेव समर्थकों के
खिलाफ कमला मार्केट थाने मे दंगा भड़काने, सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान
पहुंचाने व सरकारी ड्यूटी पर तैनात कर्मियों से मारपीट का मामला भी दर्ज
किया गया है। कार्रवाई के दौरान टेंट के बीच छिपे रहे बाबा रामदेव को पुलिस
ने तड़के चार बजे हिरासत में लेकर हवाई मार्ग से देहरादून भेज दिया।

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