7,902 गरीबों को नये आवास सौंपे जायेंगे. इंट्रीग्रेटेड हाउसिंग स्लम
डेवलपमेंट प्रोग्राम के तहत कांटी, औरंगाबाद, मोतीपुर, शेखपुरा, भागलपुर,
किशनगंज, बहादुरगंज, पूर्णिया, बिहारशरीफ, बेगूसराय, आरा, मधेपुरा, जोगबनी व
सुपौल में आवासों के निर्माण की प्रक्रिया शुरू कर दी गयी है. इन पर
175.94 करोड़ रुपये खर्च किये जा रहे हैं.
3,600 का निर्माण पूरा
3,600 से अधिक आवासों का निर्माण कार्य पूरा हो चुका है. 2,100 के निर्माण
की प्रक्रिया चल रही है, जो जल्द ही पूरी कर ली जायेगी. आवासों के निर्माण
करा रही हिंदुस्तान प्रीफैब लिमिटेड (एचपीएल) के अधिकारियों ने बताया कि
पूर्णिया व बिहारशरीफ में भूमि उपलब्ध नहीं होने के कारण थोड़ी परेशानी हो
रही है, लेकिन इस पर वहां के जिलाधिकारी से बात कर समस्या का समाधान किया
जा रहा है.
किन्हें मिलेगा घर
स्लम क्षेत्रों में रहनेवाले लोगों को प्राथमिकता के तौर पर आवास दिया
जायेगा. इसके लिए इन शहरों में स्लमों की पहचान कर ली गयी है. अब वहां
रहनेवाले गरीबों की सूची तैयार की जा रही है. आरा में 24, बिहारशरीफ में
37, बेगूसराय में 39, पूर्णिया में 83, किशनगंज में 153, औरंगाबाद में 43
और भागलपुर में 170 स्लमों की पहचान की गयी है.
क्या होगी सुविधा
इन आवासों में एक बेडम के साथ किचन व शौचालय की सुविधा होगी. घर के पास
पार्किंग व बच्चों के खेलने के लिए अलग से स्पेस की व्यवस्था की जायेगी.
– राकेश रंजन –