भागलपुर/ मुजफ्फरपुर, जाटी। प्रदेश में फिर डेंगू के 42 मरीजों की
पहचान की गयी है। स्थिति इस कदर बिगड़ गयी है कि प्रशासन भी कोपभाजन बनने के
डर से मरीजों के सही आकड़े को दबाने में जुटा है। जांच के दौरान मुंगेर में
सर्वाधिक 38, कटिहार में एक, समस्तीपुर में दो व दरभंगा में एक व्यक्ति
में डेंगू के लक्षण पाये गये।
जानकारी के मुताबिक मुंगेर में गुरुवार को मिले 38 नए मरीजों में पांच
को बेहतर इलाज के लिए पटना रेफर किया गया है। सिविल सर्जन डा.मुकेश कुमार
ने बताया कि सदर अस्पताल में 219 मरीजों की जांच में 18 मरीजों में डेंगू
के लक्षण पाए गए। जबकि निजी नर्सिग होम मातृ सदन में 23 मरीजों की जांच
हुई, जिसमें 20 नए डेंगू के मरीज मिले। बरियारपुर प्रखंड से तीन लोगों को
पटना रेफर किया गया। जबकि कटिहार के कोढ़ा प्रखंड की विषहरिया पंचायत
अंतर्गत शिशिया गांव निवासी सत्यनारायण प्रसाद सिंह का पुत्र दिवाकर कुमार
डेंगू की चपेट में आ गया। उसे भी गुरुवार को पीएमसीएच पटना रेफर किया गया
है। समस्तीपुर मेंदो मरीजों को चिह्नित किया गया है। इनमें पटोरी थाने के
चकसलेम निवासी मूंगालाल दास का पुत्र हेमंत कुमार दास और हसनपुर प्रखंड के
गजपति मध्य विद्यालय में कार्यरत शिक्षक अभय कुमार (35) शामिल हैं। हेमंत
को जांचोपरांत दिल्ली रेफर कर दिया गया है। हालांकि, समस्तीपुर के सिविल
सर्जन अनिल कुमार चौधरी ने कहा कि अभी तक अस्पताल में एक भी डेंगू का मरीज
नहीं आया है। प्राइवेट स्तर पर इलाज कराने वालों की उन्हें कोई जानकारी
नहीं है। उधर, दरभंगा के डीएमसीएच में गुरुवार को डेंगू से पीड़ित मरीज को
भर्ती किया गया है। पीड़ित मुन्ना कुमार दिल्ली से ही बीमार होकर घर लौटा
है। उसका इलाज चल रहा है। अस्पताल अधीक्षक डॉ. सूरज नायक ने बताया कि
डीएमसीएच में डेंगू जांच की व्यवस्था नहीं है। बाहर से करायी गयी जांच में
डेंगू की पुष्टि हुई है।