देश में सामान्य से 5% ज्यादा बारिश: 12 राज्यों में बाढ़, गुजरात-राजस्थान में अलर्ट

नई दिल्ली.देशभर में अब तक सामान्य से 5% ज्यादा बारिश हुई है। दक्षिण पश्चिम मानसून ने पूरे देश को कवर कर लिया है। गुजरात, राजस्थान, ओडिशा, पश्चिम बंगाल, असम और झारखंड में बारिश आफत बन गई है। बाढ़ के चलते गुजरात और राजस्थान हाईअलर्ट पर हैं। यहां युद्धस्तर पर रेस्क्यू कार्य जारी है। नरेंद्र मोदी ने मंगलवार को गुजरात में बाढ़ का जायजा भी लिया। मौसम विभाग ने 27 से 29 जुलाई के बीच जम्मू-कश्मीर और हिमाचल प्रदेश में भारी बारिश की आशंका जताई है। 25 से 29 जुलाई तक दक्षिण पश्चिम राजस्थान में भी तेज बारिश की आशंका जताई गई है। 27 जुलाई को अत्यधिक बारिश हो सकती है। 25 से जुलाई के बीच पश्चिमी यूपी में भी भारी बारिश की वॉर्निंग जारी की गई है।अरब सागर-बंगाल की खाड़ी में एक साथ लो प्रेशर जोन बनने से हो रही भारी बारिश…

– गुजरात, राजस्थान, ओडिशा, पश्चिम बंगाल, बिहार और झारखंड में भारी बारिश मानसून के असामान्य पैटर्न के चलते हो रही है। बंगाल की खाड़ी और अरब सागर के ऊपर एक साथ लो प्रेशर जोन बना है। इससे ज्यादा बारिश हो रही है।

– ज्यादातर बंगाल की खाड़ी के ऊपर लो प्रेशर जोन बनने से नॉर्दर्न रीजन में बारिश होती है। यह सिस्टम ओडिशा से होता हुआ गुजरात, आंध्र प्रदेश, तेलंगाना और मध्य प्रदेश के ऊपर बना है। अब यह सिस्टम दक्षिण पश्चिम राजस्थान की ओर भी बढ़ रहा है।
देशभर में भारी बारिश और बाढ़ के चलते अब तक 120 मौतें

गुजरात:बनासकांठा जिले के 10 हजार लोगों को सुरक्षित जगह पर भेजा गया है। वायुसेना और एनडीआरएफ की 20 से अधिक टीमें रेस्क्यू में लगी हुई हैं। बाढ़ के चलते अहमदाबाद-दिल्ली रेल सर्विस को रोक दिया गया है। प्रदेश में बारिश के चलते 75 लोगों की मौत हो गई है।

राजस्थान : पाली, सिरोही और जालौर में भारी बारिश का सिलसिला जारी है। तीनों जिलों में बाढ़ जैसे हालात बने हुए हैं। माउंट आबू में 24 घंटे में रिकॉर्ड 30 इंच बारिश हुई। डूंगरपुर में कार बहने से एक की मौत और बाड़मेर में 3 बच्चे बहे।
झारखंड: राज्य के ऊपर लो प्रेशर जोन बनने से बीते तीन दिनों से भारी बारिश हो रही है। मंगलवार को भारी बारिश के चलते 4 लोगों की मौत हो गई। रांची, जमशेदपुर और धनबाद समेत कई जिलों में स्कूलों में छुटि्टयां कर दी गई हैं।

50 साल की सूखी गर्मी के बाद बीते 15 साल में मजबूत हुआ मानसून: रिसर्च

– बोस्टन की मैसाच्युसेट्स इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (एमआईटी) की स्टडी के मुताबिक, भारत में 50 सालों की सूखी गर्मी के बाद बीते 15 साल में मानसून मजबूत हुआ है।

– 2002 के बाद से देश में बीते 50 साल की तुलना में ज्यादा बारिश हो रही है। नेचुरल क्लाइमेट चेंज जर्नल में पब्लिश रिसर्च के मुताबिक, भारतीय जमीन और समुद्र के टेम्परेचर में बदलाव के कारण भी मई महीने के दौरान मानसून की बारिश हो सकती है।

– रिसर्च के मुताबिक, 2002 से भारतीय उपमहाद्वीप में गर्मी में बढ़ी है। इस दौरान यहां का तापमान 0.1 से बढ़कर एक डिग्री सेल्सियस के बीच पहुंच गया।

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