रायपुर, बिलासपुर। छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा शराब बेचने के फैसले के खिलाफ बिलासपुर हाईकोर्ट में लगी जनहित याचिका कोर्ट ने स्वीकार कर ली है। ममता शर्मा की याचिका पर दो जजों की बेंच ने सरकार को इस मामले में नोटिस जारी किया है। याचिका में अनुच्छेद 47 के उल्लंघन की शिकायत की गई है।
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा हाईवे से शराब दुकान हटाने के आदेश दिया गया था। जिसके बाद प्रदेश सरकार ने इससे होने वाले नुकसान की भरपाई के लिए शराब दुकानों के संचालन की जिम्मेदारी निगम के हवाले करने का निर्णय लिया। इसके लिए छत्तीसगढ़ आबकारी (संशोधन) अध्यादेश 2017 भी लाने का निर्णय लिया गया था।
सरकार का तर्क था कि देसी और विदेशी मदिरा दुकानों के राजस्व को सुरक्षित रखने तथा राज्य की जनता के स्वास्थ्य के हित की दृष्टि से दोनों तरह की मदिरा के फुटकर विक्रय का अधिकार सार्वजनिक उपक्रम को दिया जाएगा। दूरदराज के इलाके में शराब दुकानों के लिए ठेकेदार नहीं मिलते। निगम का गठन होने से यह समस्या दूर हो जाएगी। सरकार के इस निर्णय के खिलाफ प्रदेशभर में विरोध शुरू हो गया।