सामाजिक योजनाओं के जरिए सियासत साधने की कवायद में सरकार

धनंजय प्रताप सिंह/वैभव श्रीधर,भोपाल। बजट के जरिए सियासत साधने की कोशिश हर सरकार करती आई है और आने वाले बजट में ये कोशिश निश्चित तौर पर नजर आने वाली है। 1 मार्च को आने वाले प्रदेश के बजट में सड़क,बिजली,पानी और अधोसंरचना के बजाए सामाजिक योजनाओं के बहाने सोशल इंजीनिरिंग पर ज्यादा फोकस हो सकता है। वैसे इस फार्मूले की शुरुआत पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने की थी।लेकिन इसे सही अर्थों में शिवराज सरकार ने लागू किया है और उसे इसका भरपूर लाभ भी मिला है । यही वजह है कि सरकार सामाजिक सेवा के क्षेत्र में लगातार बजट बढ़ाते जा रही है।चालू वित्तीय वर्ष में लगभग 54 हजार करोड़ रुपए इस क्षेत्र में खर्च करने का इंतजाम सरकार ने किया है।
 

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मुख्यमंत्री निवास पर पंचायतें बुलाकर सभी वर्गों से सीधे जुड़ने का जो सिलसिला शुरू किया,उसका असर बजट पर साफ नजर आ सकता है।महिला हो,मजूदर हो या युवा,शिक्षा-स्वास्थ्य-रोजगार हो या फिर किसान या गांव सरकार का पूरा जोर लोगों को सीधा फायदा पहुंचाने पर रहा है।

 

लाड़ली लक्ष्मी,कन्यादान,तीर्थदर्शन,शून्य प्रतिशत ब्याज पर कर्ज,गांव की बेटी सहित कई योजनाएं ऐसी हैं जो सीधे लोगों को फायदा पहुंचाती हैं। इसका फायदा न सिर्फ मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान का कद बढ़ाने में मिला बल्कि विधानसभा,लोकसभा,नगरीय निकाय और पंचायत चुनावों में भी भाजपा को मिला है।

 

मतदाताओं को सीधे प्रभावित करने वाली योजनाएं

 

लाड़ली लक्ष्मी- 21 लाख को सीधा फायदा। लाड़ली लक्ष्मी पर 903 करोड़ रुपए खर्च।

सीएम ग्रामीण आवास- 5 लाख 61हजार को सीधा फायदा। 50 हजार रुपए की सबसिडी।

मुख्यमंत्री युवा उद्यमी योजना – 1 लाख हितग्राहियों को सीधा फायदा।

छात्रवृत्ति योजनाओं में आय सीमा में वृद्धि- 7 लाख 62 हजार को सीधा फायदा। राशि 54 हजार से बढ़ाकर 1 लाख 20 हजार की।

सामाजिक सुरक्षा पेंशन – 10 लाख को सीधा फायदा। पेंशन राशि 150 रुपए से बढ़ाकर 300 रुपए की।

कन्यादान और निकाह – 18 लाख को सीधा फायदा। शादी का पूरा खर्च सरकार का। गृहस्थी जमाने सामग्री दी। अब स्मार्ट फोन भी देंगे।

कन्या अभिभावक पेंशन- 28 हजार को सीधा फायदा। एक कन्या होने पर अभिभावकों को 500 रुपए प्रतिमाह।

अन्न्पूर्णा – पौने चार करोड़ परिवार को फायदा। एक रुपए में गेहूं, चावल और नमक।

मुख्यमंत्री तीर्थदर्शन योजना- डेढ़ लाख से ज्यादा को सीधा फायदा। सरकार अपने खर्च पर बुजुर्गों को तीर्थदर्शन करा रही है।

राज्य बीमारी सहायता- 1लाख 77 हजार को सीधा फायदा। दो लाख रुपए तक इलाज में मदद। 17 करोड़ 47लाख करोड़ रुपए से ज्यादा खर्च।

पूरक पोषण आहार- 80 लाख को सीधा फायदा। 1 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा खर्च।

शून्य प्रतिशत ब्याज पर कर्ज- 23 लाख किसानों को सीधा फायदा। बिना ब्याज का कर्ज।

मुख्यमंत्री मजदूर सुरक्षा – 25 हजार 182 को सीधा फायदा। मजदूर की अचानक मृत्यु होने पर अंत्येष्टि और प्रसूति सहायता।

गांव की बेटी- 30 लाख 57 हजार को सीधा फायदा। उच्च शिक्षा के लिए प्रवेश पर 5000 रुपएसालाना की छात्रवृत्ति।

मुख्यमंत्री बाल हृदय उपचार- 1लाख 22 हजार को सीधा लाभ। ऑपरेशन व इलाज पर 10 करोड़ 53 लाख खर्च।

निशुल्क साइकिल व गणवेश वितरण- 3 लाख 30 हजार को सीधा फायदा। 23 सौ रुपए के हिसाब से साइकिल के लिए राशि दी। 1 करोड़ बच्चों को पुस्तक और दो जोड़ी गणवेश दिए।

फैक्ट फाइल

सामाजिक सेवाओं पर खर्च

2014-15

32 हजार 67 करोड़ रुपए

2015-16

46 हजार 624 करोड़ रुपए

2016-17

53 हजार 950 करोड़ रुपए (प्रावधान)

2016-17 का बजट

कुल बजट – 1 लाख 58 हजार करोड़

सामाजिक योजनाओं पर – 54 हजार करोड़

सड़क पर -7 हजार 361 करोड़

बिजली पर -19 हजार 976 करोड़

पानी पर – 3 हजार करोड़

 

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *