स्वामी रिजर्व बैंक के गवर्नर रघुराम राजन के उस रुख के मुखर आलोचक रहे हैं, जिसमें मुद्रास्फीति पर नियंत्रण के लिए ब्याज दर कम न करने की नीति अपनायी गयी है। भाजपा नेता स्वामी ने टि्वटर पर कहा कि उन्होंने करीब 50 साल तक अमेरिकियों को अर्थशास्त्र पढ़ाया है।
स्वामी ने कहा, सिर्फ अर्थशास्त्र न जानने वाले या भारत को नुकसान पहुंचाने के खतरनाक इरादे वाले व्यक्ति की सोच ही इससे अलग हो सकती है। स्वामी ने यह बात ट्विटर पर अपने एक अनुगामी के सवाल के जवाब में यह बात कही, जिसने उनसे इस विषय पर नोबल पुरस्कार से सम्मानित अर्थशास्त्री जोसफ स्टिग्लिज के बयान पर टिप्पणी देने को कहा था।
अमेरिकी अर्थशास्त्री स्टिगलिटज ने कहा था कि भारत को मुद्रास्फीति को लेकर ज्यादा परेशान होने के बजाय आर्थिक वृद्धि पर अधिक ध्यान देना चाहिए।
स्वामी ने अपने अनुगामी को जबाव देते हुए ट्वीट किया कि उनको अपने विचारों को स्थापित करने के लिए किसी और के समर्थन की जरूरत नहीं है।
उन्होंने कहा, जीवनरेखा मुझे किसी और की बैसाखी की जरूरत नहीं है जैसा कि अन्य गैर देशभक्त भारतीयों को जरूरत पड़ती है। मैंने 50 साल तक अमेरिकियों को अर्थशास्त्र पढ़ाया है।
स्टिग्लिज ने कहा था कि मुदास्फीति पर ज्यादा ध्यान देने से उच्च स्तर पर बेरोजगारी और कम वृद्धि की स्थिति पैदा हो सकती है।