7 साल में 300 बार जन सुनवाई में गया किसान, सीएम हाउस पर आत्मदाह की चेतावनी

मुरैना। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने साल 2009 में जनसुनवाई कार्यक्रम की शुरुआत की थी। इस कार्यक्रम को शुरू हुए जून के इस महीने में पूरे 7 साल हो गए हैं। यह कार्यक्रम जनता के लिए कितना सफल रहा यह कहना मुश्किल है, लेकिन जिले के एक किसान की कहानी इस जनसुनवाई की अलग ही कहानी बयां करती है। यह किसान मंगलवार 30 जून 2009 में पहली बार अपनी शिकायत लेकर जनसुवाई में पहुंचा था।

तब से अब तक करीब 300 बार जनसुनवाई में अपने खेत के रास्ते पर अतिक्रमण की शिकायत कर चुके इस किसान की समस्या अभी तक हल नहीं हुई। अब किसान ने एक आवेदन में कहा है कि वह स्वतंत्रता दिवस के अगले दिन सीएम हाउस के सामने भोपाल में आत्मदाह करेगा।


लालौरकलां गांव के वृद्ध किसान केशव सिंह पिछले 10 सालों से अपने खेत तक पहुंचने का रास्ता मांग रहे हैं। किसान के खेत तक जाने वाले आम रास्ते पर कुछ लोगों ने कब्जा कर लिया है। 10 साल से खेत में खेती नहीं कर पा रहे इस किसान के जीवन में पिछले 7 साल से शायद ही ऐसा कोई मंगलवार आया हो जिसमें वह कलेक्टर, एसडीएम या अन्य अधिकारियों के यहां जनसुनवाई में न गया हो। अब तक कलेक्टर से लेकर नगर निगम और कमिश्नर तक से 300 बार जनसुनवाई में शिकायत कर चुके इस किसान की समस्या हल नहीं हो पाई है।


किसान के खेत का रास्ता खुलवाने के लिए न्यायालय भी निर्देश जारी कर चुका है। फिर भी किसान की समस्या हल नहीं हुई है। किसान की मानें तो सात साल बाद एसडीएम खेत के रास्ते का अतिक्रमण हटाने पहुंचे, लेकिन गलत रास्ते का अतिक्रमण हटाकर लौट आए। जिससे किसान की परेशानी जैसी की तैसी ही रही।


2006 में हो गया था कब्जा


किसान केशव सिंह की मानें तो साल 2006 में उसकी उसकी भूमि जो कि सर्वे क्रमांक 2313 का एक चौथाई हिस्सा है। इस जमीन तक जाने वाले रास्ते पर कुछ लोगों ने अतिक्रमण किया। उस समय वह अधिकारियों से आवेदन देकर अतिक्रमण हटाने की गुहार करता रहा। केशव की मानें तो उसे अखबरों से साल 2009 में पता चला कि 30 जून 2009 को जनसुनवाई की शुरुआत हो रही है। किसान पहली जनसनुवाई में कलेक्टर के समक्ष शिकायत लेकर गया और तब से करीब-करीब लगातार वह हर मंगलवार जनसुनवाई में जा रहा है। अपनी शिकायतों के आवेदनों का पुरा पुलंदा किसान के पास तैयार है।


आयुक्त ननि को दिए आवेदन में कहा करेगा आत्महत्या


इस मंगलवार को पीड़ित किसान नगर निगम आयुक्त के यहां जनसुनवाई में पहुंचा। उसने आवेदन में लिखा है कि वह शिकायत करते-करते इतना थक चुका है कि अब उसमें हिम्मत नहीं बची है। यही वजह है कि वह स्वतंत्रता दिवस के अगले दिन 16 अगस्त को सीएम हाउस के सामने भोपाल में आत्मदाह करेगा। किसान की मानें तो पहले भी उसने जिला मुख्यालय पर आत्मदाह का प्रयास किया था, लेकिन पुलिस ने उसे पकड़कर थाने पहुंचा दिया था।
इनका कहना है


किसान की शिकायत पर एसडीएम ने कए बार कार्रवाई की थी। हो सकता है वहकार्रवाई से संतुष्ट न हुए हों, इसलिए वे लगातार जनसुनवाई में शिकायत कर रहे हों। कई मामलों में लोग अपने पक्ष में मामलों के निराकरण के लिए निरंतर शिकायतें करते रहते हैं। फिर भी इस मामले को दिखवाया जाएगा।
शिवानंद दुबे, आयुक्त चंबल संभाग

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