संसद ने आज ‘आधार’ के जरिये कल्याण योजनाओं का लाभ लाभार्थियों तक सीधे पहुंचाने वाले आधार विधेयक को मंजूरी दे दी। सरकार द्वारा धन विधयेक के रूप में रखे गए इस विधेयक में राज्यसभा ने पांच संशोधनों के साथ लोकसभा को लौटा दिया था, हालांकि निचले सदन ने इन संशोधनों को अस्वीकार कर दिया। इससे पहले लोकसभा आधार विधेयक 2016 को शुक्रवार को पारित कर चुकी थी।
राज्यसभा में जहां सत्तारूढ़ राजग अल्पमत में हैं, वहां आज इस विधेयक पर चर्चा हुई। विधेयक पर कांग्रेस सहित विपक्ष की ओर से पांच संशोधन पेश किये गए जिसे उच्च सदन ने स्वीकार करके लोकसभा को वापस भेज दिया। इसके कुछ ही देर बाद सरकार इस विधेयक को लोकसभा में वापस लेकर आई और वित्त मंत्री अरुण जेटली ने उच्च सदन में विपक्ष के दबाव में एक से लेकर पांच तक के संशोधनों को घातक बताते हुए उन्हें अस्वीकार करने का निचले सदन से आग्रह किया जिसे सदन ने ध्वनिमत से मंजूरी दे दी।
राज्यसभा ने कराये थे 5 संशोधन
राज्यसभा में विपक्ष ने इन संशोधनों में राष्ट्रीय सुरक्षा की जगह सार्वजनिक आपात स्थिति और सार्वजनिक सुरक्षा शब्दों को समाहित करने सहित मत विभाजन के जरिये पांच संशोधन विधेयक में समाहित कराये थे। इन संशोधन में आधार को स्वीकार करने की बाध्यता को भी हटा दिया गया था।