नयी दिल्ली, 13 मार्च (एजेंसी)
बजट सत्र के पहले चरण के समापन के करीब होने के बीच संसद की समिति सोमवार को भूमि अधिग्रहण विधेयक 2015 पर चर्चा करेगी। इस विधेयक के माध्यम से राजग सरकार ने संप्रग के 2013 के भूमि कानून में प्रमुख बदलाव करने की योजना बनायी थी और बाद में रख परिवर्तित कर दिया। भूमि अधिग्रहण, पुनर्वास तथा पुनर्व्यवस्थापन में निष्पक्ष क्षतिपूर्ति और पारदर्शिता के अधिकार (दूसरा संशोधन) विधेयक 2015 पर भाजपा सांसद एसएस अहलूवालिया की अध्यक्षता वाली समिति विधेयक के शेष प्रावधानों पर विचार करेगी।
सरकार को उम्मीद है कि विधेयक से संबंधित सभी मुद्दों पर आम-सहमति बन जाएगी। समिति का कार्यकाल कम से कम 5 बार बढ़ाया जा चुका है। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने पिछले साल नवंबर में विधेयक पर थोड़ी सहमति बनने की उम्मीद जतायी थी।
7 वोटों का फंसा है पेंच : 242 सदस्यीय राज्यसभा में सरकार के पास 155 सदस्याें का समर्थन है। संविधान संशोधन विधेयक को पारित करने के लिए उसे 162 मतों की जरूरत है। जीएसटी को कांग्रेस और अन्नाद्रमुक के अलावा राज्यसभा में सभी दलों का समर्थन प्राप्त है। राज्यसभा में कांग्रेस के 67 और अन्नाद्रमुक के 12 सांसद हैं। राज्यसभा में पारित होने के बाद इस विधेयक को 29 में से आधे राज्यों के अनुमोदन की जरूरत होगी। इसके बाद एक अक्तूबर से जीएसटी लागू किया जा सकता है।
जीएसटी विधेयक के पारित होने की उम्मीद
नयी दिल्ली (एजेंसी) : वित्त मंत्री अरुण जेटली ने रविवार को एडवांसिंग एशिया सम्मेलन में उम्मीद जतायी कि वस्तु एवं सेवा कर (जीएसटी) विधेयक के लिए ऐतिहासिक संविधान संशोधन विधेयक के अलावा दिवाला एवं शोधन अक्षमता संहिता विधेयक 20 अप्रैल से शुरू होने वाले बजट सत्र के दूसरे भाग में पारित हो जाएगा। जीएसटी विधेयक लोकसभा में पहले ही पारित हो चुका है, लेकिन यह राज्यसभा में अटका हुआ है। वहां सत्तारुढ़ राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) के पास बहुमत नहीं है।