विश्व की आधी जनसंख्या यानी करीब पांच अरब लोग 2050 तक निकट दृष्टि दोष से पीड़ित होंगे और अगर वर्तमान रुझान बने रहे तो इनमें से बीस फीसदी को अंधेपन का जोखिम रहेगा। यह दावा ब्रिएन होल्डेन विजन इंस्टीट्यूट, यूनिवर्सिटी ऑफ न्यू साउथ वेल्स ऑस्ट्रेलिया और सिंगापुर आई रिसर्च इंस्टीट्यूट के शोधकर्ताओं ने किया है।
इन शोधकर्ताओं में भारतीय मूल के वैज्ञानिक भी शामिल हैं। शोधकर्ताओं के अनुसार, निकट दृष्टि दोष के कारण आंखों की रोशनी जाने की संभावना साल 2000 के मुकाबले 2050 तक सात गुना बढ़ने का अनुमान है।
इसके अलावा, विश्व भर में स्थायी अंधापन की सबसे बड़ी वजह भी निकट दृष्टि दोष होगी।� शोध के परिणाम एक प्रमुख स्वास्थ्य समस्या की ओर इशारा करते हैं।