आश्चर्यजनक रूप से देश के कई भागों में प्राचीन देवदासी प्रथा अब भी बदस्तूर जारी है। इस बात का पता चलने पर गृह मंत्रालय ने सभी राज्यों को पत्र लिखकर महिलाओं की गरिमा से खिलवाड़ करने वालों के खिलाफ कड़े कदम उठाने को कहा है।
मंत्रालय ने कहा है कि देवदासी प्रथा का किसी भी रूप में बने रहना पूरी तरह से भारतीय दंड संहिता की धारा 370 व 370-ए का उल्लंघन है।
सभी राज्यों व केंद्र शासित प्रदेशों को लिखे खत में केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कहा है कि देवदासी प्रथा अमानवीय है और महिलाओं के स्तर को गिराने वाले सबसे जघन्य अपराधों में से यह एक है।
मंत्रालय ने इसके खिलाफ कानूनों को अक्षरश: लागू करने का निर्देश देते हुए पीड़ितों का पुनर्वास सुनिश्चित करने को भी कहा है।
पत्र में कहा गया है कि विभिन्न पीआईएल और मीडिया में आई खबरों से पता चलता है कि देश के विभिन्न क्षेत्रों में कुछ समुदायों, खासतौर पर बेरिया और नट समुदायों में धार्मिक रीतिरिवाज के नाम पर देवदासी प्रथा अभी भी चल रही है।
हालांकि काफी पहले विभिन्न विधायी प्रक्रियाओं द्वारा राज्य सरकारों द्वारा इसे समाप्त किया जा चुका है लेकिन रिपोर्ट के मुताबिक यह देश के कुछ भागों में अभी भी जारी है।