प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस साल जनवरी में बिजली बचाओ अभियान के तहत स्ट्रीट लाइट को एलईडी बल्व में तब्दील करने की ‘प्रकाश पथÓ योजना शुरू की थी जिसके तहत अगले वर्ष मार्च तक 100 शहरों में स्ट्रीट लाइट के लिए पूरी तरह से इन बल्बों का इस्तेमाल किया जाएगा और 2019 तक अन्य कई शहरों में इस योजना को क्रियान्वित किया जाएगा।
एलईडी बल्बों को इस्तेमाल से कितनी बिजली बचेगी इसका अनुमान इसी से लगाया जा सकता है कि पूरे देश में अनुमानित कुल 3.5 करोड़ स्ट्रीट लाइटों का लोड फिलहाल करीब 3400 मेगावाट है और यदि एलईडी बल्बों का इस्तेमाल स्ट्रीट लाइट के लिए होता है तो यह लोड घटकर 1400 मेगावाट रह जाएगा।
एलईडी बल्ब यदि पूरी तरह से स्ट्रीट लाइट के लिए इस्तेमाल होते हैं तो इससे नौ अरब यूनिट बिजली बचेगी जिससे देश के शहरी क्षेत्रों में 5500 करोड़ रुपए की बिजली हर साल बचाई जा सकती है।
आधिकारिक सूत्रों के अनुसार इस साल 100 शहरों में स्ट्रीट लाइट और घरेलू लाइट योजना के तहत एलईडी बल्बों को लगाने का कार्य पूरा होना है।
सरकार ने बिजली बचत योजना के तहत 2019 तक बिजली की बचत को छह प्रतिशत से बढ़ाकर दस प्रतिशत करने की कार्ययोजना बनाई है।
इसके तहत घरेलू उपयोग के लिए सरकारी स्तर पर एलईडी बल्बों के वितरण का कार्य किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि योजना के तहत फिलहाल 186 शहरों को पंजीकृत किया गया है ।
आंध्र प्रदेश के गुंटूर, अनंतपुर, श्रीकाकुलम, पश्चिमी गोदावरी तथा पुड्डुचेरी में यह योजना पूरी की जा चुकी है और इस कार्यक्रम के अंतर्गत एक करोड़ एलईडी बल्बों का वितरण किया जा चुका है।