कोर्ट ने राज्य सरकार से कहा : विज्ञा सम्मत कृषि से मिलेगा लाभ
कोलकाता : राज्य के आलू किसानों की बेहतरी के लिए राज्य सरकार को पंजाब का मॉडल अपनाने की सलाह कलकत्ता हाइकोर्ट ने दी है. हाइकोर्ट की मुख्य न्यायाधीश मंजुला चेल्लूर व न्यायाधीश जयमाल्य बागची की खंडपीठ ने अनिंद्य सुंदर दास द्वारा दायर मामले की सुनवाई में यह कहा. खंडपीठ ने कहा कि विज्ञान सम्मत कृषि से लाभ मिले हैं. राज्य को भी पंजाब के कृषि मॉडल को अपनाना चाहिए. अतिरिक्त एडवोकेट जनरल लक्खी गुप्ता ने हाइकोर्ट के निर्देशानुसार आलू किसानों के विकास के लिए सुझाव अदालत में पेश किये.
उन्होंने कहा कि राज्य में आलू किसानों के सामने संकट नहीं है. इस पर अदालत ने कहा कि तब आलू किसान क्यों मामला कर रहे हैं. क्या इस पर अदालत जांच का आदेश दे. याचिकाकर्ता के वकील ने कहा कि राज्य में शुक्रवार को भी एक आलू किसान ने आत्महत्या की है.
राज्य सरकार द्वारा 50 हजार मैट्रिक टन आलू खरीदने की बात थी लेकिन केवल 22 हजार मैट्रिक टन ही खरीदे गये. खंडपीठ ने याचिकाकर्ता को राज्य सरकार के सुझाव के एवज में अपने सुझाव देने के लिए कहा है. मामले की अगली सुनवाई 27 अप्रैल को होगी.