एक किसान का दर्द, आंखों में चुभी बर्बाद फसल तो लगा दी आग

बेमौसम बारिश और आंधी-तूफान का सबसे ज्यादा खामियाजा इस बार अगर किसी उठाना पड़ा है तो वो किसान हैं। जिनकी बर्बाद फसलों ने उन्हें इसकदर तोड़ दिया कि वह खुद को संभालने में ही असफल होते जा रहे हैं। शायद इसीलिए देश के अलग-अलग हिस्सों से किसानों के आत्म हत्या की खबरें सामने आ रही हैं।

ऐसे में एक किसान ऐसा भी मिला जो अपनी बर्बाद फसलों को देखकर ऐसा दुखी हुआ कि उसने खेत में खड़ी फसल को ही आग के हवाले कर दिया।

ये पूरा मामला मुरादाबाद के अहलादपुर गांव का है। जहां रहने वाले किसान आमिर हुसैन ने अपनी बर्बाद हुई गेहूं की फसल को इसलिए जलाया कि, वह इस फसल को देख नहीं पा रहा था।

‘आंखों में चुभ रही थी बर्बाद फसल’
किसान आमिर हुसैन से जब हमने बात की तो उन्होंने बताया कि आंखों में चुभ रही बर्बाद फसल की कटाई भी महंगी पड़ रही थी, जिसकी वजह से उसे जलाने का कदम उठाना पड़ा।

आंधी-बारिश से हुई गेहूं की फसल की बर्बादी को लेकर किसान सदमे में है। अब तक क्षेत्र में तीन किसानों की मौत हो चुकी हैं। ऐसे में एक किसान के इस कदम से उसकी मनःस्थिति को समझा जा सकता है।

अहलादपुर गांव किसान आमिर हुसैन की मानें तो सदमे से उबरने के लिए उन्होंने गेहूं की दो एकड़ में फैली फसल को आग के हवाले कर दिया।

सर्वे को डीएम से लगानी पड़ी थी गुहार
किसान का कहना था कि फसल नुकसान के लिए डीएम और एसडीएम से भी गुहार लगाई थी। ताकि मदद मिल सके। लेकिन, फसल नुकसान के सर्वे में भी तहसील कर्मियों का रवैया भी ठीक नजर नहीं आया, जिसे लेकर परेशानी सामने आ रही थी।

फिलहाल आमिर हुसैन ने हौंसला नहीं छोड़ा है। उनका कहना है कि अब गन्ने की फसल को बोने की तैयारी की जाएगी।

उधर लेखपाल कुंवर सिंह सेन का कहना था कि आमिर हुसैन की गेहूं की फसल में भारी नुकसान था, जिसकी वजह से गेहूं का दाना सूख गया था। इसको फसल हानि की सूची में शामिल कर लिया था। फसल के नुकसान का सर्वे भी समय से ही कर लिया था।

लेखपाल ने माना पूरी फसल हुई थी बर्बाद
आमिर हुसैन ने बताया कि उन्होंने करीब पांच एकड़ में गेहूं की फसल बोई थी। आंधी-बारिश से पहले फसल काफी अच्छी थी और अधिक पैदावार का अनुमान लगाया जा रहा था। लेकिन रुक-रुककर हुई बारिश ने गेहूं की फसल को नुकसान पहुंचा दिया।

आमिर हुसैन की 12 बीघा गेहूं की फसल पूरी तरह से तबाह हो गई। काला पड़ने के साथ ही बाली में गेहूं के दाने तक सूख गए। हालांकि किसान ने दो बीघा फसल कटवाई, जिस पर खर्च सात सौ रुपये हुए।

आमिर हुसैन ने बताया कि गेहूं फसल की सिंचाई में काफी पैसा खर्च पहले हो चुका है और अब काला पड़ने से पशु भी नहीं खा रहे है। इससे काफी नुकसान पहुंचा है। दूसरे खेत में खड़ी गेहूं की फसल को भी नुकसान हुआ है। इस पर किसान ने खेत में गेहूं की फसल मेंआग लगा दी।

फिलहाल फसल नुकसान से परेशान किसान सरकार की मदद की आस में है लेकिन अभी तक ठोस आश्वासन प्रशासन की ओर से नहीं मिल रहा है।

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