राशन कार्डों पर अब यूनिट के हिसाब से मिलेगा चावल

रायपुर। राज्य सरकार ने छत्तीसगढ़ खाद्य सुरक्षा एवं पोषण सुरक्षा अधिनियम 2012 के तहत राशनकार्ड धारकों के राशन की पात्रता का युक्तियुक्तकरण किया है। इसके तहत अब प्राथमिकता श्रेणी के नीले राशनकार्ड धारक 44 लाख परिवारों को राशनकार्ड पर यूनिट संख्या के अनुसार प्रति यूनिट सात किलो के हिसाब से अनाज दिया जाएगा। इन परिवारों के एक करोड़ 67 लाख सदस्यों को इसका लाभ मिलेगा। इस युक्तियुक्तकरण के बाद राज्य में अब राशनकार्डों की अपात्रता या उनके निरस्तीकरण की स्थिति समाप्त हो गई है, क्योंकि परिवार की यूनिट संख्या (सदस्य संख्या) के अनुसार ही अनाज प्राप्त होगा।

खाद्य विभाग के अधिकारियों ने बताया कि यह नई व्यवस्था माह अप्रैल से लागू हो जाएगी। विभाग द्वारा इस संबंध में दिशा-निर्देशों के साथ अधिसूचना जारी कर दी गई है। राज्य सरकार ने जनप्रतिनिधियों और पंचायत प्रतिनिधियों से समय-समय पर विभिन्न मंचों में मिले सुझावों पर विचार करने के बाद राशन कार्डों का युक्तियुक्तकरण किया है। इसमें गरीब लगभग 16 लाख अंत्योदय परिवारों को मिलने वाले अनाज की पात्रता में कोई बदलाव नहीं किया गया है। इन सभी अंत्योदय परिवारों को पहले की तरह हर महीने 35 किलो अनाज मिलता रहेगा। प्राथमिकता और अंत्योदय परिवारों को यह अनाज सिर्फ एक रुपए किलो में मिलेगा। राज्य शासन द्वारा लिए गए इस ताजा फैसले के तहत नीले राशनकार्ड धारक पांच सदस्यों वाले परिवार को 35 किलो अनाज की पात्रता होगी, वहीं पांच से अधिक सदस्य वाले परिवार को प्रति सदस्य सात किलो अतिरिक्त अनाज मिलेगा। अधिकारियों ने यह भी बताया कि मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह की अध्यक्षता में हाल ही में मंत्रिपरिषद की बैठक में लिए गए निर्णय के आधार पर खाद्य विभाग द्वारा छत्तीसगढ़ में अनाज की पात्रता का युक्तियुक्तकरण किया गया है।

अब तक प्रति परिवार हर महीने 35 किलो अनाज की जो व्यवस्था की गई थी, उसके मुताबिक यदि किसी परिवार में सदस्य संख्या दो है तो उसे भी 35 किलो और सदस्य संख्या दस है तो उस परिवार को भी 35 किलो मिल रहा था। आम तौर पर एक या दो सदस्य वाले परिवारों को हर महीने 35 किलो अनाज की जरूरत नहीं होती और आवश्यकता से ज्यादा अनाज मिलने पर उसके दुरुपयोग की भी संभावना रहती थी। जनप्रतिनिधियों द्वारा इस व्यवस्था के युक्तियुक्तकरण की मांग की जा रही थी। मुख्यमंत्री ने उनकी मांगों पर विचार कर राशनकार्डों में यूनिट आधारित अनाज वितरण का यह निर्णय लिया है। गरीबी रेखा से ऊपर (एपीएल) परिवारों (सामान्य परिवारों) की आर्थिक स्थिति को ध्यान में रखते हुए नए युक्तियुक्तकरण में अप्रैल 2015 से अनाज की पात्रता को समाप्त किया गया है। राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा कानून में भी सामान्य परिवारों के लिए अनाज की पात्रता नहीं है।

दस सदस्य वाले परिवारों को 70 किलो

अधिकारियों ने बताया कि अगर परिवार छह सदस्यों का है तो उसे 42 किलो, सात सदस्यों का है तो 49 किलो और इसी तरह दस सदस्यों का परिवार है तो 70 किलो अनाज हर महीने प्राप्त होगा। इसके अलावा पांच से कम सदस्यों वाले परिवार को भी सात किलो प्रति सदस्य के हिसाब से अनाज मिलता रहेगा। इस प्रकार अब प्राथमिकता वाले नीले राशनकार्डधारक बड़ेपरिवारों को पहले की तुलना में ज्यादा अनाज मिलेगा।

44 लाख नीले राशनकार्ड, 1.67 करोड़ सदस्य

छत्तीसगढ़ खाद्य एवं पोषण सुरक्षा अधिनियम 2012 के अंतर्गत वर्तमान में प्रदेश में लगभग प्राथमिकता श्रेणी के 44 लाख नीले राशनकार्ड धारक परिवारों में एक करोड़ 67 लाख सदस्य हैं। लगभग 16 लाख गरीब परिवारों को अंत्योदय राशनकार्ड जारी किए गए हैं। नए युक्तियुक्तकरण के बाद अब राशनकार्डों की अपात्रता अथवा निरस्तीकरण को लेकर अनिश्चय की स्थिति समाप्त हो गई है, क्योंकि अब परिवार की सदस्य संख्या के अनुसार अनाज का वितरण किया जाएगा।

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