फिलहाल छोटी कारों पर 8 प्रतिशत और बड़ी कारों पर 20 प्रतिशत उत्पाद शुल्क लगता है। लेकिन डीजल और पेट्रोल इंजन वाली कारों में कोई फर्क नहीं है। अभी जितनी कारें बिकती हैं उनमें से 30-35 प्रतिशत कारें डीजल से ही चलती हैं।
तंबाकू और उससे बने प्रोडक्ट को हतोत्साहित करने के लिए केंद्र तंबाकू उत्पादों पर अधिकतम टैक्स लगाती है। तंबाकू के पाउच पर उत्पादन लागत का 60 से 65 प्रतिशत तक और सिगरेट पर 500 प्रतिशत तक एक्साइज ड्यूटी है। गुजरात में तंबाकू उत्पादों पर 25 फीसदी कर है। राजस्थान में तंबाकू उत्पादों पर 40 प्रतिशत टैक्स है।
देश के ग्रामीण और शहरी इलाकों में लाखों लोग तंबाकू अथवा इससे बनी उत्पादों का सेवन करते हैं। केवल मध्य प्रदेश में 40 फीसदी आबादी यानी करीब तीन करोड़ लोग तंबाकू के आदी हैं। राज्य में तंबाकू उत्पादों पर अधिकतम 13 प्रतिशत वैट है। सिगरेट और गुटखा पर 12.5 प्रतिशत और बीड़ी पर 5 प्रतिशत वैट लगता है।