रांची, जाब्यू : पारा शिक्षकों के आंदोलन को खत्म करने का सरकार का
प्रयास बेकार साबित हो गया है। 15 सितंबर तक सेवा शर्त नियमावली का प्रारूप
प्राप्त कर पारा शिक्षक नेताओं से उसपर चर्चा कराने के अधिकारियों के
प्रस्ताव को अस्वीकार करते हुए अन्य दो गुटों ने भी हड़ताल पर जाने का
निर्णय लिया है। अब प्रदेश के सभी 80 हजार पारा शिक्षक शुक्रवार से हड़ताल
पर चले जाएंगे। वहीं, 27 अगस्त से हड़ताल पर चल रहा विनोद गुट शुक्रवार से
जेल भरो आंदोलन चलाएगा।
पारा शिक्षक नेताओं का कहना है कि वे स्कूलों में मध्याह्न भोजन योजना
को भी बाधित करेंगे। इसकी पूरी तैयारी कर ली गई है। स्कूलों में तालाबंदी
भी की जाएगी। सरकार द्वारा की गई किसी भी प्रकार की कार्रवाई से निपटने के
लिए पारा शिक्षक तैयार हैं।
क्या हैं मांगें
-पारा शिक्षकों की सेवा 60 वर्ष के लिए स्थायी की जाए।
-मानदेय बढ़ाकर 17 हजार रुपये किया जाए।
-अप्रशिक्षित पारा शिक्षकों को शीघ्र प्रशिक्षित कराया जाए।
क्या पडे़गा असर
-प्राथमिक स्कूलों में शिक्षा प्रभावित होगी, वहीं मध्याह्न भोजन योजना भी बाधित होगी।
-उत्क्रमित प्राथमिक विद्यालयों में पठन-पाठन पारा शिक्षकों के भरोसे
है, इसलिए इन स्कूलों पर हड़ताल का सबसे अधिक असर पड़ेगा। इन विद्यालयों में
प्राथमिक शिक्षा व मध्याह्न भोजन योजना पूरी तरह ठप हो जाएगी।
कोट
अभी पारा शिक्षकों के हड़ताल पर जाने की कोई सूचना नहीं है। यदि हड़ताल
पर जाते हैं तो शनिवार को इसकी समीक्षा करेंगे और इसपर ठोस निर्णय लेंगे।
डीके सक्सेना, प्राथमिक शिक्षा निदेशक.