रायपुर। छत्तीसगढ़ में जनसंख्या स्थिरता कोष के मानकों को पूरा करने
वाले गरीब दंपतियों को 19 हजार रुपए तक का आकर्षक पैकेज देकर सम्मानित किया
जाएगा।
आधिकारिक सूत्रों ने आज यहां बताया कि छत्तीसगढ़ के आदर्श दम्पतियों को
अब अधिकतम 19 हजार रुपए तक का आकर्षक पैकेज मिल सकता है। इसके लिए जरूरी
है कि यह दम्पति राष्ट्रीय जनसंख्या स्थिरता कोष के मानकों को पूरा करते
हो। ऐसे आदर्श दम्पतियों की पहचान करने के लिए छत्तीसगढ़ में प्रेरणा योजना
लागू की गई है, जिसके तहत आदर्श दम्पतियों को सार्वजनिक समारोहों में
पुरस्कार देकर सम्मानित किया जाएगा। योजना में गरीबी रेखा श्रेणी के आदर्श
दम्पतियों को ही शामिल किया गया है।
स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग के अधिकारियों ने बताया कि यह योजना
गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले ऐसे परिवार के लिए है, जिन्होंने
अपने परिवार का आदर्श नियोजन किया है। योजना में ऐसे दंपतियों को शामिल
किया जाएगा जिनमें महिला की विवाह के समय न्यूनतम आयु 19 वर्ष थी और प्रथम
संतान का जन्म विवाह के दो वर्ष के बाद हुआ। यदि प्रथम संतान बालक है तो
महिला को 10 हजार रुपए और प्रथम संतान बालिका होने पर उसे 12 हजार रुपए की
प्रोत्साहन राशि मिलेगी।
इसी तरह यदि महिला की दूसरी संतान पहले संतान के जन्म के तीन वर्ष बाद
हुई हो और महिला अथवा पुरूष द्वारा परिवार नियोजन का स्थाई साधन अपनाया
गया हो तथा परिवार नियोजन के समय महिला की अधिकतम आयु 30 वर्ष हो, तो ऐसे
दम्पति को अतिरिक्त प्रोत्साहन राशि की पात्रता होगी। इस आदर्श स्थिति में
दूसरी संतान बालक होने पर पांच हजार रुपए और बालिका होने पर सात हजार रुपए
अतिरिक्त प्रोत्साहन राशि दी जाएगी।
इस तरह यदि दोनों ही संतान बालिका होने पर आदर्श दम्पति को अधिकतम 19
हजार रुपए और दोनों संतान बालक होने पर अधिकतम 15 हजार रुपए का प्रोत्साहन
पैकेज मिलेगा। आदर्श दम्पतियों को यह राशि राष्ट्रीय बचत पत्र अथवा किसान
विकास पत्र के रूप में दी जाएगी। इस पैकेज को प्राप्त करने के लिए आदर्श
दम्पति को अपने विवाह का पंजीयन कराना अनिवार्य होगा।
अधिकारियों ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग द्वारा आदर्श दम्पतियों की
पहचान की जिम्मेदारी बहुउद्देशीय महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ता, आंगनबाड़ी
कार्यकर्ता और स्वास्थ्य मितानिनों को दी गई है। इस योजना का लाभ लेने के
लिए आदर्श दम्पतियों को प्रेरित करने पर आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और स्वास्थ्य
कार्यकर्ता को प्रति प्रकरण एक सौ रुपए की प्रोत्साहन राशि दी जाएगी।
उन्होंने बताया कि जिला स्तर पर आदर्श दंपतियों को पुरस्कार देने के
लिए कलेक्टर की अध्यक्षता में एक समिति गठित की गई है, जिसमें संबंधित जिले
के मुख्य चिकित्सा और स्वास्थ्य अधिकारी, जिला परिवार कल्याण कार्यक्त्रम
अधिकारी, जनसंख्या स्थिरता कोष के प्रतिनिधि और महिला एवं बाल विकास विभाग
के जिला कार्यक्रम अधिकारी को सदस्य नामांकित किया गया है।