रायबरेली,
जागरण संवाददाता। मंगलवार को जहां सूर्य की प्रचंड गर्मी से मौसम तप रहा
था, वहीं ग्रामीणों की एक के बाद एक शिकायतों को सुनकर संप्रग अध्यक्ष
सोनिया गांधी का चेहरा और भी तमतमाता जा रहा था। छीछेमऊ गांव की चौपाल में
उन्होंने अधिकारियों से दो टूक लहजे में कहा कि 24 घंटे के भीतर हरहाल में
इंदिरा आवासों का आवंटन सुनिश्चित हो जाना चाहिए।
छीछेमऊ गांव में सांसद सोनिया गांधी ने दलित उर्मिला के दरवाजे पर
चौपाल लगा दी। हालचाल पूछते ही ग्रामीणों ने एक स्वर से कहा कि पिछले तीन
साल से इंदिरा आवास नहीं बांटे गए। लोग छप्पर के नीचे रहने को मजबूर हैं।
सोनिया ने बीडीओ व परियोजना अधिकारी ग्राम्य विकास अभिकरण को तलब किया और
कड़े लहजे में पूछा कि ‘यह सब क्या है’ वाजिब जवाब न मिलने पर बोलीं ‘कुछ
नहीं सुनना, 24 घटे में आवास बांटे जाएं।’ इससे घबराए अन्य अफसर इधर-उधर
हो लिए और जगतपुर ब्लाक में पात्रों की सूची बनाने का काम शुरू हो गया है।
ऐसे ही राशन कार्ड, विधवा और वृद्धावस्था पेंशन की शिकायतों पर अफसरों को
कोप भाजन का शिकार होना पड़ा।
राही ब्लाक के बेला टिकई में प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना के तहत बनी
दस करोड़ की लागत वाली दस सड़कों का लोकार्पण किया। जिस रास्ते से वह निकली
और लोगों की भीड़ देखकर या फिर आवाज लगाने पर वह रुक गई और उनकी फरियाद
सुनी। कई गरीब बच्चों का इलाज कराने व उपकरण देने का वादा किया है। कुछ को
दिल्ली बुलाया है। शाम को शहर के राना नगर स्थित राजीव गांधी चैरिटेबिल
ट्रस्ट का निरीक्षण किया और समूहों की महिलाओं से मिली। जिले भर में चल
रहे समूहों की एक डाक्यूमेंट्री फिल्म भी देखी। इसके पहले सुबह एनटीपीसी
गेस्ट हाउस में पहले की अपेक्षा कम लोगों की भीड़ जुटी। लोगों की शिकायतों
के निस्तारण का वादा किया है।
छीछेमऊ गांव में ग्रामीणों की व्यथा सुनकर सोनिया गांधी स्तब्ध रह गई।
गांव वालों ने बताया कि न तो उनके पास राशनकार्ड है, न बीपीएल सूची में
उनका नाम है, मनरेगा में काम नहीं हो रहा। आवास व पेंशन आदि की समस्या है।
सोनिया ने पूछा कि प्रधान का घर कहां है वहां चलिये। लोगों ने बताया कि
प्रधान खजुरी में रहती हैं, जो तीन किलोमीटर दूर है। सोनिया बोलीं आप लोग
यही रहिये, वह प्रधान से बात करने जा रही हैं। बताते हैं कि उनका काफिला
प्रधान के गांव के मोड़ से आगे निकल गया तो उसे मोड़वाकर उसके घर पहुंची,
लेकिन वहां ताला लटकता मिला। उनके दरवाजे ही सोनिया ने चौपाल लगा दी।
लोगों से कहा कि जो व्यक्ति यहां रहता ही नहीं वह विकास क्या करायेगा।
सोनिया के कमरे का एसी बंद, नल सूखे
रायबरेली। बिजली-पानी के संकट से जूझ रहे अवाम के दर्द से संप्रग
अध्यक्ष सोनिया गांधी को भी दो-चार होना पड़ा। एनटीपीसी के अति विशिष्ट
गेस्ट हाउस में सोनिया के कमरे का एसी बंद हो गया और बाथरूम के नलों से
पानी नहीं आया। खफा होकरसोनिया ने केंद्रीय ऊर्जा मंत्री को फोन पर
अव्यवस्था के बारे में बताया। इसके बाद अफरातफरी मच गई। सीएमडी ने सभी
अफसरों को लताड़ा। यही नहीं जिले के कांग्रेस विधायकों ने हो-हल्ला भी
किया। एनटीपीसी अधिकारियों ने आनन-फानन में बिजली-पानी का प्रबंध कराया।
यह घटना सोमवार देर रात की है। जब सोनिया प्रतिनिधिमंडलों से मिलने के बाद अपने कमरे में पहुंची थीं।
देर शाम एनटीपीसी ऊंचाहार के जनसंपर्क अधिकारी संतोष कुमार श्रीवास्तव
ने बताया कि अति विशिष्ट अतिथि गृह के बाथरूम में गर्मी का मौसम होने के
कारण गरम पानी आ रहा था। इसके कारण ही संप्रग अध्यक्ष को असुविधा हुई।
उन्होंने कहा कि संप्रग अध्यक्ष के स्टाफ के एक कक्ष में गलत बटन दबा देने
से कुछ देर एसी नहीं चालू हो सका।