बिहार विशेष न्यायालय बिल को केंद्र से मंजूरी

पटना। लंबी अवधि के बाद आखिरकार केंद्र
सरकार ने बिहार विशेष न्यायालय को मंजूरी प्रदान कर दी है। पिछले वर्ष
अप्रैल से ही बिहार सरकार का यह बिल केंद्र की मंजूरी के लिए लंबित था।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने सोमवार को बताया कि उन्हें यह सूचना मिली है
कि केंद्र ने उक्त बिल को दो दिन पूर्व मंजूरी दे दी है। वैसे मंजूरी के
कागजात राज्य सरकार को अभी नहीं मिले हैं। कागजात के संबंध में उन्होंने
दिल्ली स्थित बिहार के रेजिडेंट कमिश्नर को निर्देश दिए हैं। इस बीच मुख्य
सचिव को कहा गया है कि वे इस संबंध में नियमावली को तैयार करें।

केंद्र द्वारा इस बिल की मंजूरी मिल जाने से भ्रष्टाचारियों पर अंकुश
लगाने में राज्य सरकार को एक बड़ा शस्त्र मिल गया है। इस बिल में यह
प्रावधान है कि राज्य सरकार भ्रष्टाचारियों द्वारा अर्जित अचल संपत्तिको
भी जब्त कर सकती है। आम तौर पर आय से अधिक संपत्तिअर्जित करने वाले मामलों
में यह काफी कारगर होगा। मुख्यमंत्री ने बताया कि बिल को केंद्र से मंजूरी
मिलने की सूचना आने के तुरंत बाद उन्होंने मुख्य

सचिव को इसके लिए नियमावली तैयार करने को कहा है। नियमावली के आधार पर यह कानून आगे बढ़ेगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि इस कानून को क्रियान्वित किए जाने को ले एक
प्राधिकार का गठन किया जायेगा। जिला जज स्तर के न्यायिक अधिकारी को उक्त
प्राधिकार का अध्यक्ष बनाया जायेगा। प्राधिकार की अनुमति से ही आय से अधिक
संपत्तिमामले में दोषी व्यक्ति की अचल संपत्तिजब्त की जा सकेगी।

मुख्यमंत्री ने उम्मीद जाहिर की कि जनवरी समाप्त होने के पहले बिल की
मंजूरी के कागजात राज्य सरकार को मिल जाएंगे। प्राधिकार गठन के लिए
नियमावली का ड्राफ्ट कैबिनेट की मंजूरी के लिए लाया जायेगा। जब्त आवासों
में राज्य सरकार स्कूल खोल देगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि वैसे भी स्कूलों
के लिए भवनों की कमी है। इस बारे में वह लोगों से यह अपील भी करेंगे कि
अगर उन्हें किसी भ्रष्टाचारी की अचल संपत्तिके बारे में जानकारी दें।
सूचना दिए जाने वाले का नाम गोपनीय रखा जायेगा।

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